हल्द्वानी: शिक्षक पंकज भट्ट के परिवार ने पेश की मिसाल, पति-पत्नी ने किया देहदान…

Haldwani News: देहदान सबसे बड़ा दान माना जाता है। श्मशान घाट के बाहर आपने वाक्य पढ़े होंगे, मंजिल तो तेरी यहीं थी, इतनी देर लगा दी आते-आते, क्या मिला तुझे जिंदगी से, अपनों ने ही जला दिया जाते-जाते।’ लेकिन ऐसे कुछ ही दानवीर होते है जो जीते जी अपना शरीर ही दूसरों के लिए दान कर देते है। अब शिक्षक पंकज कुमार भट्ट और उनकी पत्नी यक्षिता भट्ट ने मरणोपरांत देह दान करने की घोषणा की हैं। आगे पढ़िये…
मूलरूप से अल्मोड़ा जिले के सोमेश्वर मौवे गांव निवासी शिक्षक पंकज भट्ट वर्तमान में हल्द्वानी के हिम्मतपुर तल्ला में रहते है। उन्होंने बताया कि रिटायर्ड प्रो. और समाजसेवी संतोष मिश्रा से प्रेरित होकर उन्होंने और उनकी पत्नी यक्षिता भट्ट द्वारा देहदान करने का संकल्प लिया है। उनके इस फैसले में उनके परिवार द्वारा पूरा सहयोग मिला है। आगे पढ़िये…
उन्होंने बताया कि अनमोल संकल्प सिद्धि फाउंडेशन हल्द्वानी की संस्थापिका सुचिता जायसवाल द्वारा दोनों के देहदान प्रार्थना पत्र प्राप्त किये है। जल्द ही उन पत्रों को जिलाधिकारी और मेडिकल काॅलेज हल्द्वानी के प्राचार्य को सौंप दिया जायेगा। आपको बता दे कि मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी में वर्ष 2010 से देहदान की सुविधा शुरू हुई थी। मेडिकल कॉलेज को मिलने वाली देह का जूनियर, पीजी और रिसर्च छात्र पूरा आदर सम्मान करते हैं। यह देह उनके लिए शिक्षक के समान होता है। उन्हें शपथ दिलाई जाती है कि वह इस देह के ऋणी रहेंगे। देहदान करने के लिए 10 रुपये का स्टांप लेकर नोटरी से शपथ पत्र पर घोषणा करानी होती है। इसके बाद प्रमाणित कराना होगा।









