उत्तराखंडः प्रदेश में आयुष्मान कार्ड से जुड़ी बड़ी खबर, अब तक 12.32 लाख लोग उठा चुके है लाभ
Dehradun News: सूबे में शत प्रतिशत लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाने को जनपदवार कार्ययोजना बनाई जाएगी। इस सम्बंध में सभी जनपदों के मुख्य चिकित्साधिकारियों को निर्देश दिये गये। इसके लिए उन्होंने आगामी 31 मार्च तक विशेष अभियान चलाने को भी कहा गया है जिसमे 70 वर्ष से अधिक आयु वर्ग के वृद्धजनों के भी कार्ड बनाये जाएंगे। इसके साथ ही राजकीय मेडिकल कॉलेज व चिकित्सालयों में आयुष्मान योजना के तहत अधिक से अधिक मरीजों के उपचार के लिये अधिकारियों को ठोस रणनीति बनाने को कहा गया है। बैठक में अधिकारियों को गोल्डन कार्ड में आ रही व्यवहारिक दिक्कतों को भी दूर करने के निर्देश दिये गये।
चिकित्सा स्वास्थ्य एवं चिकित्सा शिक्षा मंत्री डॉ धन सिंह रावत ने आज राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण के सभागार में विभिन्न स्वास्थ्य सेवाओं की समीक्षा की। डॉ. रावत ने आयुष्मान कार्ड बनाने की धीमी प्रगति वाले जनपदों के मुख्य चिकित्साधिकारियों को जमकर फटकार लगाई। उन्होंने प्रदेश में शत-प्रतिशत लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाने को सभी सीएमओ को ठोस कार्ययोजना बनाकर शासन को उपलब्ध कराने के निर्देश दिये। डॉ रावत ने कहा कि प्रदेश में 23.89 लाख परिवारों के 97.11 लाख लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाने का लक्ष्य रखा गया है जिसमें से अभी तक 53.61 लाख लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाये जा चुके हैं। जबकि 4.73 लाख लोगों के गोल्डन कार्ड बनाये गये हैं। इसी प्रकार 70 वर्ष से अधिक आयु वर्ग के करीब दो हजार लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाये जा चुके हैं।
उन्होंने बताया कि आयुष्मान योजना के तहत अबतक 12.32 लाख लोगों ने योजना का लाभ उठाया है जिस पर 2289 करोड़ की धनराशि खर्च की जा चुकी है। इसी प्रकार एक लाख से अधिक गोल्डनकार्ड धारकों ने भी इस योजना के अंतर्गत स्वास्थ्य लाभ लिया। विभागीय मंत्री ने अधिक से अधिक लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाने को आगामी 31 मार्च तक विशेष अभियान चलाने के निर्देश अधिकारियों को दिये। जिसमें सीएचओ,एएनएम, आशा व आयुष्मान मित्रों का सहयोग लिया जाएगा। जिसके लिए सचिव स्वास्थ्य एवं चेयरमैन राज्य स्वास्थ्य प्राधिकरण सभी जनपदों के जिलाधिकारियों व सीएमओ के साथ वर्चुअल बैठक कर अभियान की समीक्षा करेंगे।
इसके अलावा बैठक में गोल्डन कार्ड में आ रही व्यवहारिक दिक्कतों को दूर करने, 108 आपातकालीन सेवा के सुधारीकरण, मेडिकल कालेजों व राजकीय अस्पतालों में विभिन्न संवर्गों में रिक्त पदों को भरने सहित कई अन्य बिंदुओं पर चर्चा कर विभागीय अधिकारियों को जरूरी निर्देश दिये।