हल्द्वानी: उत्तराखंड में मसालों के लिए क्रेता-विक्रेता बैठक, किसानों को दी जानकारी

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Haldwani News: स्पाइसेस बोर्ड द्वारा आयोजित मसालों की क्रेता-विक्रेता बैठक हल्द्वानी के एक निजी संस्थान में सफलतापूर्वक संपन्न हुई। इस आयोजन का उद्देश्य सीधे बाजार संपर्क को बढ़ावा देकर उत्तराखंड में मसाला किसानों को निर्यातकों से जोड़ना है।

कार्यक्रम में मुख्य विकास अधिकारी अशोक कुमार पाण्डे ने कहा  कि उत्तराखण्ड के मसालों और अन्य बागवानी उत्पादों के विक्रेताओं, आपूर्तिकर्ताओं के भारत भर के निर्यातकों के साथ व्यापार सम्बन्धों को मजबूत करने के लिए एक मंच प्रदान करेगा। उन्होंने कहा यहां के स्थानीय उत्पादों को बाजार मूल्य बेहतर मिलें इसके लिए हमें सभी किसानो को जागरूक करना होगा और इसके लिए समय-समय पर क्रेता एवं विक्रेता के साथ समन्वय बनाने की भी आवश्यता है। उन्होंने कहा हमारे पर्वतीय स्थानीय उत्पादों को विपणन के साथ सही बाजार मूल्य मिलने से किसानों की आर्थिकी भी मजबूत होगी। इसके लिए किसानों को मसाला उत्पादन हेतु प्रेरित करना होगा। 

बैठक में किसान उत्पादक संगठनों (एफपीओ), किसानों, प्रोसेसरों, व्यापारियों और निर्यातकों सहित लगभग 250 उपस्थित लोगों ने भाग लिया। प्रदर्शनी में एफपीओ, सरकारी विभागों और संबद्ध संगठनों के स्टॉल शामिल थे, जो फसल कटाई के बाद की प्रथाओं, गुणवत्ता मानकों और उपलब्ध सरकारी योजनाओं के बारे में बहुमूल्य जानकारी प्रदान करते थे।

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अपने विविध मसाला उत्पादन के लिए जाना जाने वाला उत्तराखंड, 17,242 हेक्टेयर में तेजपात, अदरक, लहसुन, हल्दी और मिर्च जैसे मसालों की खेती करता है, जिससे सालाना 70,610 मीट्रिक टन का उत्पादन होता है। राज्य ने 2023-24 में ₹973.41 लाख मूल्य के 311.41 मीट्रिक टन मसालों का निर्यात किया, जिसमें करी पाउडर, मिर्च, धनिया और लहसुन का महत्वपूर्ण योगदान था।
कार्यक्रम में राज्य के जीआई-टैग मसालों पर भी प्रकाश डाला गया, जिसमें मीठा तेजपत्ता (तेजपत्ता) और अल्मोडा लाखोरी मिर्च शामिल हैं, जो क्षेत्र की कृषि पहचान के लिए महत्वपूर्ण हैं। इस दौरान बैठक में महाप्रबन्धक उद्योग पल्लवी गुप्ता, प्रमुख कृषि विज्ञान केन्द्र डा. सी तिवारी,वैज्ञानिक डा. दिनेश सिंह बिष्ट के साथ ही पूरे भारत के क्रेता, विक्रेता व किसान मौजूद रहे।

जीवन राज (एडिटर इन चीफ)

समाजशास्त्र में मास्टर की डिग्री के साथ (MAJMC) पत्रकारिता और जनसंचार में मास्टर की डिग्री। पत्रकारिता में 15 वर्ष का अनुभव। अमर उजाला, वसुन्धरादीप सांध्य दैनिक में सेवाएं दीं। प्रिंट और डिजिटल मीडिया प्लेटफॉर्म में समान रूप से पकड़। राजनीतिक और सांस्कृतिक के साथ खोजी खबरों में खास दिलचस्‍पी। पाठकों से भावनात्मक जुड़ाव बनाना उनकी लेखनी की खासियत है। अपने लंबे करियर में उन्होंने ट्रेंडिंग कंटेंट को वायरल बनाने के साथ-साथ राजनीति और उत्तराखंड की संस्कृति पर लिखने में विशेषज्ञता हासिल की है। वह सिर्फ एक कंटेंट क्रिएटर ही नहीं, बल्कि एक ऐसे शख्स हैं जो हमेशा कुछ नया सीखने और ख़ुद को बेहतर बनाने के लिए तत्पर रहते हैं। देश के कई प्रसिद्ध मैगजीनों में कविताएं और कहानियां लिखने के साथ ही वह कुमांऊनी गीतकार भी हैं अभी तक उनके लिखे गीतों को कुमांऊ के कई लोकगायक अपनी आवाज दे चुके है। फुर्सत के समय में उन्हें संगीत सुनना, किताबें पढ़ना और फोटोग्राफी पसंद है। वर्तमान में पहाड़ प्रभात डॉट कॉम न्यूज पोर्टल और पहाड़ प्रभात समाचार पत्र के एडिटर इन चीफ है।