उत्तराखंडः (वाह भुली)-पहाड़ की कल्पना ने हिंद महासागर में फहरायी श्रीराम पताका, स्कूबा डाइविंग रचा इतिहास…

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Bageshwar News: पहाड़ की बेटियां लगातार अपनी प्रतिभा से देवभूमि का नाम रोशन कर रही है। सेना से लेकर खेल के मैदान तक और बालीवुड से लेकर आसमान तक, बेटियों ने अपनी छाप छोड़ी है। अब देवभूमि की एक बेटी ने प्रभु श्रीराम की पताका के साथ हिंद महासागर की गहरियों में स्कूबा डाइविंग कर भारतवर्ष का नाम रोशन किया है। जी हां… अब बात कर रहे है, उत्तराखंड के बागेश्वर जिले के द्वारसों गांव निवासी कल्पना मेहरा की, जो सैन्य परिवार में जन्मी है। विगत 22 जनवरी के दिन ही हिंद महासागर की गहरियों में सफल स्कूबा डाइविंग कर अपने संकल्प को पूरा किया।

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अपनी सफलता पर कल्पना कहती है कि यह इतना आसान भी नहीं था। वर्तमान में मालदीव में नौकरी करने के चलते विदेश में थी। कुछ दिनों से उनकी तबियत भी खराब चल रही थी। इन दोनों कारणों से वह अंदर ही अंदर डी भी थी कि शायद इस बार राम मंदिर की प्राण-प्रतिष्ठा के दिन प्रभु राम की पताका के साथ समुद्र की गहरियों में उतरने का संकल्प कहीं टूट ना जाए। लेकिन गोस्वामी तुलसीदास ने रामचरित मानस में कहा है ना ‘होइहि सोइ जो राम रचि राखा। को करि तर्क बढ़ावै साखा”, इसी को ध्यान में रखकर कल्पना ने सबकुछ भगवान राम पर छोड़ दिया। देखते ही देखते न केवल उनकी छुट्टी मिली बल्कि तबीयत खराब होने के बावजूद प्रभु का नाम लेकर वह समुद्र में गोता लगाने चली गई।

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कल्पना बताती है कि उन्हें इस बात का पता ही नहीं चला कि कब वह समुद्र के भीतर 30 फीट गहराई में पहुंच गई। इससे पहले भी आजादी के अमृत महोत्सव और मिशन चंद्रयान-3 के सफल होने पर तिरंगे के साथ स्कूबा डाइविंग कर चुकी हैं। उनके पिता कैप्टन हरीश सिंह मेहरा भारतीय सेना से सेवानिवृत्त है जबकि उनकी मां हेमा मेहरा एक कुशल गृहिणी हैं। बेटी के इस कदम से वह खुद को काफी गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं। वहीं लोग उन्हें लगातार बधाई देने आ रहे हैं।

जीवन राज (एडिटर इन चीफ)

समाजशास्त्र में मास्टर की डिग्री के साथ (MAJMC) पत्रकारिता और जनसंचार में मास्टर की डिग्री। पत्रकारिता में 15 वर्ष का अनुभव। अमर उजाला, वसुन्धरादीप सांध्य दैनिक में सेवाएं दीं। प्रिंट और डिजिटल मीडिया प्लेटफॉर्म में समान रूप से पकड़। राजनीतिक और सांस्कृतिक के साथ खोजी खबरों में खास दिलचस्‍पी। पाठकों से भावनात्मक जुड़ाव बनाना उनकी लेखनी की खासियत है। अपने लंबे करियर में उन्होंने ट्रेंडिंग कंटेंट को वायरल बनाने के साथ-साथ राजनीति और उत्तराखंड की संस्कृति पर लिखने में विशेषज्ञता हासिल की है। वह सिर्फ एक कंटेंट क्रिएटर ही नहीं, बल्कि एक ऐसे शख्स हैं जो हमेशा कुछ नया सीखने और ख़ुद को बेहतर बनाने के लिए तत्पर रहते हैं। देश के कई प्रसिद्ध मैगजीनों में कविताएं और कहानियां लिखने के साथ ही वह कुमांऊनी गीतकार भी हैं अभी तक उनके लिखे गीतों को कुमांऊ के कई लोकगायक अपनी आवाज दे चुके है। फुर्सत के समय में उन्हें संगीत सुनना, किताबें पढ़ना और फोटोग्राफी पसंद है। वर्तमान में पहाड़ प्रभात डॉट कॉम न्यूज पोर्टल और पहाड़ प्रभात समाचार पत्र के एडिटर इन चीफ है।