उत्तराखंड: कुत्ते के काटने के बाद पुलिस कांस्टेबल की मौत

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Uttrakhand News: उत्तराखंड पुलिस विभाग में कार्यरत कांस्टेबल को आवारा कुत्ते ने काट कर घायल कर दिया। वहीं उपचार के दौरान कांस्टेबल की मौत हो गई। जबकि कांस्टेबल ने एंटी रेबीज का इंजेक्शन भी लगाया था।

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आवारा कुत्ते के काटने से घायल कांस्टेबल के पैर में अधिक दर्द होने पर सोमवार को उन्हें मेरठ के एनसीआर मेडिकल कालेज अस्पताल में भर्ती कराया गया था। जहां बुधवार रात उनकी मौत हो गई।

कांस्टेबल के भाई अजय आर्य ने बताया कि अस्पताल जाने से पहले दीपक के सिर, पैर और हाथों में दर्द था। शरीर में बेचैनी थी। इसके अलावा आंखों से भी साफ दिखाई नहीं दे रहा था।

वहीं अस्पताल के डा. शाहआलम कुरैशी ने बताया कि दीपक के पैर में कुत्ते के काटने से घाव की हो गया था। घाव के कारण पूरे शरीर में सेप्टिक फैल गया था। सेप्टिक के कारण ‘रक्तचाप काफी कम हो गया, जिसके बाद हार्ट अटैक से उनकी मौत हो गई। उनके शरीर में पीलिया के भी लक्षण थे।

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परिजनों ने बताया कि 44 वर्षीय दीपक 2002 में उत्तराखंड पुलिस में भर्ती हुए थे। वर्तमान में वह मुख्य आरक्षी पद पर पौड़ी पुलिस लाइंस में तैनात थे। लिवर की बीमारी के चलते 15 दिन पहले ही वह उत्तर प्रदेश के शामली जिले में स्थित अपने गांव आए थे, जहां अपना उपचार करा रहे थे।

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बताया कि 29 जून को सामान खरीदने बाजार गए थे। वहां आवारा कुत्ते ने उनके पैर पर काट लिया था। मृतक की पत्नी भारती भी उत्तराखंड पुलिस में सिपाही है। भारती की तैनाती फिलहाल हरिद्वार कोतवाली में चल रही है। दीपक की मौत से स्वजन में कोहराम मचा हुआ है।

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पहाड़ प्रभात डैस्क

समाजशास्त्र में मास्टर की डिग्री के साथ (MAJMC) पत्रकारिता और जनसंचार में मास्टर की डिग्री। पत्रकारिता में 15 वर्ष का अनुभव। अमर उजाला, वसुन्धरादीप सांध्य दैनिक में सेवाएं दीं। प्रिंट और डिजिटल मीडिया प्लेटफॉर्म में समान रूप से पकड़। राजनीतिक और सांस्कृतिक के साथ खोजी खबरों में खास दिलचस्‍पी। पाठकों से भावनात्मक जुड़ाव बनाना उनकी लेखनी की खासियत है। अपने लंबे करियर में उन्होंने ट्रेंडिंग कंटेंट को वायरल बनाने के साथ-साथ राजनीति और उत्तराखंड की संस्कृति पर लिखने में विशेषज्ञता हासिल की है। वह सिर्फ एक कंटेंट क्रिएटर ही नहीं, बल्कि एक ऐसे शख्स हैं जो हमेशा कुछ नया सीखने और ख़ुद को बेहतर बनाने के लिए तत्पर रहते हैं। देश के कई प्रसिद्ध मैगजीनों में कविताएं और कहानियां लिखने के साथ ही वह कुमांऊनी गीतकार भी हैं अभी तक उनके लिखे गीतों को कुमांऊ के कई लोकगायक अपनी आवाज दे चुके है। फुर्सत के समय में उन्हें संगीत सुनना, किताबें पढ़ना और फोटोग्राफी पसंद है। वर्तमान में पहाड़ प्रभात डॉट कॉम न्यूज पोर्टल और पहाड़ प्रभात समाचार पत्र के एडिटर इन चीफ है।